
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को पूरी दृढ़ता के साथ दो टूक शब्दों में कहा कि भारत किसी ‘परमाणु ब्लैकमेल’ को सहन नहीं करेगा तथा पाकिस्तान के खिलाफ अभियान को केवल स्थगित किया गया है और भविष्य पड़ोसी देश के व्यवहार पर निर्भर करेगा।
पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादियों और उनके ठिकानों के खिलाफ शुरू किए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद पहली बार राष्ट्र को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश के बहादुर सशस्त्र बलों, सैनिकों, वैज्ञानिकों और खुफिया एजेंसी को ‘सेल्यूट’ किया।
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान ने भारत से सैन्य आक्रमण रोकने के लिए विनती की तथा भारत ने इस पर तभी विचार किया जब उन्होंने अपने दुस्साहस को रोकने का वादा किया।
उन्होंने कहा कि पहलगाम में 22 अप्रैल को जो कुछ हुआ, उसने देश और पूरी दुनिया को झकझोर दिया। उन्होंने कहा कि देश के मासूम नागरिकों को उनका धर्म पूछकर, उनके परिवार के सामने क्रूरता से मार दिया गया।
मोदी ने कहा कि उनके लिए व्यक्तिगत रूप से यह पीड़ा बहुत बड़ी थी। उन्होंने कहा कि इस घटना के बाद पूरा देश आतंकवाद के खिलाफ खड़ा हो गया।
उन्होंने कहा, ‘‘मैं सशस्त्र बलों की इस बहादुरी को, इस देश की माताओं, बहनों और बेटियों को समर्पित करता हूं।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि पहलगाम की घटना में आतंकवाद का ‘वीभत्स चेहरा’ सामने आया।
उन्होंने कहा,‘‘हमने आतंकवादियों को मिट्टी में मिलाने के लिए हमारे सशस्त्र बलों को खुली छूट दे दी थी।’’ उन्होंने कहा कि इस ऑपरेशन में 100 से अधिक दुर्दांत आतंकवादी मारे गये।
मोदी ने कहा, ‘‘भारत किसी ‘परमाणु ब्लैकमेल’ को सहन नहीं करेगा। हमने पाकिस्तान के खिलाफ अभियान को केवल स्थगित किया है तथा भविष्य उनके व्यवहार पर निर्भर करेगा। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ आतंकवाद के खिलाफ भारत की नयी नीति है तथा अब एक नयी रेखा खींच दी गयी है।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज हर आतंकवादी और आतंकवादी संगठन यह बात अच्छी तरह जान गया है कि ‘‘हमारी मां-बेटियों के माथे से सिंदूर मिटाने का क्या अंजाम होता है?’’
राष्ट्र को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ केवल एक नाम नहीं है बल्कि यह ‘न्याय के प्रति एक अखंड प्रतीज्ञा’ है और इसके माध्यम से पूरे विश्व ने इस अखंड प्रतिज्ञा को कार्रवाई में बदलते देखा है।
(लोकदेश डेस्क/एजेंसी। नई दिल्ली)